“Allahabad High Court Delivers Landmark Verdict: Adults Have Freedom to Live Together
“इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने ऐतिहासिक फैसला सुनाया: वयस्कों को एक साथ रहने की स्वतंत्रता है”
लखनऊ: (Landmark Verdict) इलाहाबाद हाई कोर्ट ने एक महत्वपूर्ण फैसले में वयस्कों को अपनी पसंद के रिश्ते में साथ रहने की आजादी को बरकरार रखा है। अदालत ने कहा है कि माता-पिता सहित किसी को भी व्यक्तियों के शांतिपूर्ण जीवन में हस्तक्षेप करने का अधिकार नहीं है, चाहे उनकी जाति या धर्म कुछ भी हो।
न्यायालय के (Landmark Verdict) फैसले की मुख्य बातें:
लिव-इन रिलेशनशिप में रहने वाले वयस्क अपनी स्वतंत्रता के हकदार हैं। किसी को भी उनकी व्यक्तिगत पसंद में हस्तक्षेप करने का अधिकार नहीं है, जैसा कि संविधान के अनुच्छेद 19 और 21 द्वारा गारंटी दी गई है।
अगर कोई लिव-इन रिलेशनशिप में रहने वाले जोड़ों को परेशान करता है या धमकी देता है, तो वे पुलिस आयुक्त के पास शिकायत दर्ज करके सुरक्षा मांग सकते हैं।
एकल पीठ की अध्यक्षता कर रहे न्यायमूर्ति सुरेंद्र सिंह ने वयस्क संबंधों में व्यक्तिगत अधिकारों और विकल्पों के महत्व पर जोर देते हुए यह महत्वपूर्ण आदेश जारी किया।